महाराष्ट्र कैबिनेट का आज नागपुर में होगा भव्य विस्तार, 32 मंत्री लेंगे शपथ, संघ की छाप रहेगी स्पष्ट
महाराष्ट्र में 10 दिन के इंतजार के बाद, आज (15 दिसंबर) देवेंद्र फडणवीस कैबिनेट का विस्तार होने जा रहा है। यह विस्तार महाराष्ट्र विधानमंडल के शीतकालीन सत्र (16 दिसंबर से) से एक दिन पहले किया जा रहा है। इस बार मुंबई के बजाय नागपुर में शपथ ग्रहण समारोह आयोजित किया जाएगा, जहां राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (RSS) का मुख्यालय स्थित है। माना जा रहा है कि मंत्रिमंडल में संघ का असर साफ तौर पर नजर आएगा, और इस आयोजन का उद्देश्य हिंदुत्व और संघ के विचारों को प्रमुखता देना है।
सूत्रों के मुताबिक, आज के कैबिनेट विस्तार में 30 से 32 मंत्री शपथ ले सकते हैं। महाराष्ट्र कैबिनेट में मुख्यमंत्री सहित कुल 43 सदस्य हो सकते हैं। बीजेपी को 20-21 मंत्री पद मिलने की संभावना है, जबकि शिवसेना को 11-12 और राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (NCP) को 9-10 मंत्री पद मिल सकते हैं। इस अवसर पर मुख्यमंत्री फडणवीस खुद संभावित मंत्रियों से फोन पर संपर्क करेंगे और उन्हें शपथ ग्रहण के लिए बुलाएंगे।
एकनाथ शिंदे की टीम में शामिल होंगे 12 मंत्री
शिवसेना के मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे के नेतृत्व में 12 मंत्री कैबिनेट में शामिल होंगे। इनमें से पांच पुराने चेहरों को फिर से मौका मिल सकता है, जबकि छह नए चेहरों को भी मंत्री पद मिलने की संभावना है। शिंदे के तीन पुराने मंत्रियों को इस बार मंत्रिमंडल में जगह नहीं मिल सकती। शिवसेना के संभावित मंत्रियों की सूची में उदय सामंत, शंभुराजे देसाई, गुलाबराव पाटील, दादा भुसे, संजय राठोड जैसे नाम प्रमुख हैं। इसके साथ ही नए चेहरों में संजय शिरसाट, भरतशेठ गोगावले, प्रकाश अबिटकर, योगेश कदम, आशिष जैस्वाल और प्रताप सरनाईक शामिल हैं।
मंत्रिमंडल में विभागों का बंटवारा
सूत्रों के मुताबिक, बीजेपी इस बार शिंदे गुट को गृहनिर्माण और पर्यटन विभाग दे सकती है, हालांकि शिवसेना लगातार गृह विभाग की मांग कर रही थी। इसके अलावा, बीजेपी ने गृह, राजस्व, उच्च शिक्षा, कानून, ऊर्जा, और ग्रामीण विकास जैसे महत्वपूर्ण विभाग अपने पास रखने की योजना बनाई है, जबकि शिंदे गुट को हेल्थ, शहरी विकास, सार्वजनिक कार्य, और उद्योग जैसे विभाग ऑफर किए गए हैं। NCP के अजित गुट को वित्त, योजना, सहयोग, और कृषि जैसे विभाग दिए जाने की संभावना है।
कैबिनेट विस्तार में देरी
मंत्रिमंडल विस्तार पिछले 10 दिन से अटका हुआ था, जिसका मुख्य कारण गृह मंत्रालय का बंटवारा था। डिप्टी CM देवेंद्र फडणवीस ने गृह मंत्रालय छोड़ने से इनकार किया था, जबकि शिंदे गुट का कहना था कि अगर उन्हें डिप्टी CM का पद मिल रहा है, तो गृह मंत्रालय भी उन्हें मिलना चाहिए।
आज होने वाला मंत्रिमंडल विस्तार राज्य की राजनीति में नई दिशा की ओर इशारा करता है, और यह देखना दिलचस्प होगा कि कैबिनेट में संघ की छाप कितनी गहरी होती है।